राजेश खन्ना के बारे में-

राजेश खन्ना एक प्रसिद्ध भारतीय हिंदी फिल्म अभिनेता, फिल्म निर्माता और राजनीतिज्ञ थे। राजेश खन्ना ने कुल मिलाकर 163 फीचर फिल्मों और 17 शार्ट फिल्मों में अभिनय किया है। राजेश खन्ना ने तीन फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता पुरुस्कार जीते और वह फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता पुरुस्कार के लिए 14 बार नामांकित हुए थे। राजेश खन्ना को सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए चार-बार बीएफजेए पुरस्कार भी मिला और वह उसके लिए 25 बार नामांकित हुए थे। वर्ष 2005 में, राजेश खन्ना को फिल्मफेयर लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया था। राजेश खन्ना को “हिंदी फिल्म के मूल सुपरस्टार” के रूप में जाना जाता है।

व्यक्तिगत जीवन-

29 दिसंबर 1942 को पंजाब के अमृतसर शहर में जन्में राजेश खन्ना को उनके माता-पिता के रिश्तेदारों द्वारा गोद लिया गया था और उन्हीं के द्वारा उनका पालन पोषण हुआ था। राजेश खन्ना ने सेंट सेबेस्टियन्स गोन हाई स्कूल से अपनी प्राथमिक शिक्षा ग्रहण की थी। स्कूल के दिनों के दौरान, राजेश खन्ना धीरे-धीरे स्कूल के थिएटर में दिलचस्पी लेने लगे थे और स्कूल के थिएटर में अभिनय करने लगे थे। राजेश खन्ना ने कॉलेज में इंटर-कॉलेज नाटक प्रतियोगिता के कई पुरस्कार जीते। 60 के दशक के शुरुआत में राजेश खन्ना को थिएटर और फिल्मों में एक अपरिचित के रूप में काम करने के लिए काफी संघर्ष करना पड़ा था। मार्च 1973 में राजेश खन्ना ने डिंपल कपाड़िया से शादी कर ली थी और उनकी दो बेटियाँ हैं।

कैरियर-

राजेश खन्ना ने वर्ष 1966 में अपनी पहली फिल्म ‘आखिरी खत’ के साथ अपने फिल्मी कैरियर की शुरुआत की। राजेश खन्ना औरत, बहारों के सपने, डोली, इत्तेफाक और आराधना जैसी फिल्मों में अपने शानदार प्रदर्शन के लिए काफी मशहूर हो गए थे। आराधना फिल्म के माध्यम से राजेश खन्ना ने “तत्काल राष्ट्रीय प्रसिद्धि” हासिल की और आलोचकों ने उन्हें भारत के पहले सुपरस्टार के रूप में संबोधित किया। वर्ष 1971 में राजेश खन्ना की फिल्म हाथी मेरे साथी काफी हिट हुई थी और उस समय इस फिल्म ने सबसे अधिक कमाई की थी। वर्ष 1974 में बीबीसी ने अभिनेता राजेश खन्ना पर बॉम्बे सुपरस्टार नामक एक फिल्म बनाई थी। वर्ष 1969 से वर्ष 1971 के बीच उन्होंने 15 लगातार सोलो सुपरहिट फिल्में की, जिसका आज तक भारतीय फिल्म इतिहास में एक अटूट रिकॉर्ड बना हुआ है। आज भी उनकी यह व्यावसायिक शैली और संवाद बोलने का अंदाज, अनुकरण (मिमिक्री) करने वाले कलाकारों का पसंदीदा बना हुआ है।

वर्ष 1976 और वर्ष 1978 के बीच राजेश खन्ना ने बॉक्स ऑफिस पर 4 हिट फिल्में और उसके बाद 9 फिल्में और की थीं, जो इतनी सफल नहीं हो पाई थीं। राजेश खन्ना ने इस युग के दौरान सामाजिक रूप से सभ्य घरेलू फिल्मों में एकल भूमिकाओं का अभिनय करना जारी रखा था और उसके कई किरदार निभाए थे। वर्ष 1978 के बाद, राजेश खन्ना ने अत्यधिक प्रशंसित व्यावसायिक फिल्मों में अभिनय किया। वर्ष 1985 में, राजेश खन्ना एक निर्माता बन गए थे। बॉलीवुड ने राजेश खन्ना को सबसे बड़े और मूल अभिनेता के रूप में उजागर किया है। वर्ष 1991 में, राजेश खन्ना को 101 फिल्मों में एकल नेतृत्व नायक के रूप में अभिनय करने के लिए, फिल्मफेयर स्पेशल अवार्ड से सम्मानित किया गया था। 35 गोल्डन जुबली और 22 सिल्वर जुबली हिट फिल्में राजेश खन्ना के नाम हैं।

90 के दशक के बाद, राजेश खन्ना ने लगभग फिल्मों में अभिनय करना बंद कर दिया और नई दिल्ली के संसद सदस्य का कार्यभार संभाला। उस अवधि के दौरान राजेश खन्ना ने केवल 10 फिल्मों में अभिनय किया, जिससे फिल्मों के प्रस्तावों में गिरावट आने लगी। वर्ष 2000 से वर्ष 2009 तक, राजेश खन्ना ने चार टेलीविजन धारावाहिकों में काम किया। राजेश खन्ना का प्रसिद्ध टीवी धारावाहिक “रघुकुल रीति सदा चलि आई” था। राजेश खन्ना ने किसी कारण फिल्मों में अपनी अच्छी भूमिकाओं की कमी का भी उल्लेख किया, जिसकी वजह से वह कई फिल्मों में नहीं दिखाई दिए। वर्ष 1992 से वर्ष 1996 तक राजेश खन्ना, नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र से कांग्रेस पार्टी के संसद सदस्य रहे।

वर्ष 2012 में, राजेश खन्ना को उनके पहले और आखिरी टेलीविजन विज्ञापन में देखा गया था। इतने सालों बाद राजेश खन्ना फिर से अभिनय करके काफी खुश थे तथा उन्होंने इसे एक महान सम्मान के रूप में माना और वह एक बार फिर से अपने प्रशंसकों के साथ जुड़ने से काफी प्रसन्न थे।

मृत्यु

जून 2012 में, यह बताया गया था कि राजेश खन्ना का स्वास्थ्य काफी समय से खराब चल रहा था और स्वास्थ्य संबंधी परेशानी होने के कारण राजेश खन्ना को कई बार अस्पताल में भी भर्ती कराया गया था। 18 जुलाई 2012 को दोपहर के समय, बॉलीवुड अभिनेता राजेश खन्ना का मुंबई में उनके निवास स्थान पर निधन हो गया।

पुरुस्कार

राजेश खन्ना को प्राप्त कुछ पुरस्कार हैं:

  • 1971 में, फिल्म सच्चा झूठा के लिए फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता अवॉर्ड से सम्मानित
  • 1972 में, फिल्म आनंद के लिए फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता अवॉर्ड से सम्मानित
  • 1973 में, फिल्म अनुराग के लिए फिल्मफेयर विशेष अतिथि अभिनेता अवॉर्ड से सम्मानित
  • 1975 में,फिल्म अविष्कार के लिए फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेता अवॉर्ड से सम्मानित
  • 1991 में, भारतीय फिल्म उद्योग में 25 वर्ष पूरे होने के लिए फिल्मफेयर स्पेशल अवॉर्ड से सम्मानित
  • 2005 में, फिल्मफेयर लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड (स्वर्ण जयंती समारोह) से सम्मानित
  • 1972 में, फिल्म आनंद में सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए बीएफजेए पुरस्कार से सम्मानित
  • 1973 में, फिल्म बावर्ची में सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए बीएफजेए पुरस्कार से सम्मानित
  • 1974 में, फिल्म नमक हराम में सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए बीएफजेए पुरस्कार से सम्मानित
  • 1987 में, फिल्म अमृत में सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए बीएफजेए पुरस्कार से सम्मानित
  • 2005 में, प्राइड ऑफ फिल्म इंडस्ट्री अवॉर्ड से सम्मानित
  • 2009 में, आईआईएफए (आईफा) लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित
  • 2009 में, ऑल इंडिया फिल्म वर्कर्स एसोसिएशन लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड से सम्मानित
  • 2013 में, पद्म भूषण पुरुस्कार(मरणोपरांत)

 

 

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