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वर्षा जल संचयन

जल एक मात्र ऐसा कारण है जिसकी वजह से पृथ्वी ग्रह पर जीवन मौजूद है, इसके बिना जीवन की कल्पना भी नहीं की जा सकती है। हालांकि, गुजरते समय के साथ-साथ ताजे पानी के स्रोत कम होते जा रहे हैं। संयुक्त राष्ट्र सहित कई वैश्विक एजेंसियों की रिपोर्ट से यह संकेत मिले हैं कि यदि जल की वर्तमान स्थित में कोई बदलाव नहीं किया जाता है और निवारक उपायों पर ध्यान नहीं दिया जाता है, [...]

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जलवायु परिवर्तन से भारत में मानसून पर प्रभाव

पुराने समय से ही, भारत पहले ही अनुमान लगाई गई मानसूनी बारिश का आनंद लेता आ रहा है। साल में एक बार जून महीने के अंत में, हिंद महासागर और अरब सागर से भारत के दक्षिण-पश्चिम तट की तरफ से आने वाली भाप रूपी हवाओँ को मानसून कहते हैं। ये हवाएं पानी वाले बादल लाती हैं और गर्मियों के महीनों में प्यासी जमीन को सींचती हैं। विशाल वैश्विक प्रणाली के आधार पर एक अरब से अधिक लोग [...]

ग्लोबल वार्मिंग और भारत पर इसका प्रभाव

मानव गतिविधियों के कारण ग्रीनहाउस गैसों में बढ़ोत्तरी हुई है, जो ग्लोबल वार्मिंग का कारण बनती हैं। ग्लोबल वार्मिंग प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से पर्यावरण और सामाजिक परिवर्तन के लिए उत्तरदायी होती है। पृथ्वी के वातावरण में लगातार हो रहे औसत तापमान में वृद्धि को ग्लोबल वार्मिंग कहा जाता है, जो वैश्विक जलवायु परिवर्तन का कारण बनती है। पृथ्वी के उत्तरी ध्रुव से लगाकर दक्षिणी ध्रुव तक, अर्थात् प्रत्येक स्थान पर तापमान बढ़ रहा है [...]

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ग्लोबल वार्मिंग एक वास्तविकता है जिसका पूरी दुनिया को सामना करना पड़ रहा है। ग्रीनहाउस गैसों के प्रभाव के कारण दुनिया भर में प्रबल जलवायु परिवर्तन हुए हैं। मुख्य रूप से ग्रीनहाउस गैसों की एक परत जलवाष्प और कार्बन डाइऑक्साइड, मीथेन और नाइट्रस ऑक्साइड की छोटी मात्रा, पृथ्वी के लिए गर्म कंबल की तरह कार्य करती है। यह गर्मी को अवशोषित करने में मदद करती है और पृथ्वी की सतह को काफी गर्म करती है, [...]



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