कोटा शहर का मानचित्र
कोटा, राजस्थान का एक बहुत ही शानदार और सुंदर शहर है जिसका इतिहास खुशहालियों और रंगीलियों से भरा हुआ है। चम्बल नदी के पूर्वी तट पर स्थित, कोटा एक बार चौहान शासन के अधीन बूँदी की रियासत से संबंधित था। कोटा शहर अपने प्राचीन महलों, हवेलियों और शानदार दुर्गों के लिए अच्छी तरह से जाना जाता है। 17 वीं सदी में, सम्राट जहाँगीर ने कोटा को एक अलग राज्य घोषित कर दिया और कोटा के सिंहासन पर उत्तराधिकारी के रूप में राव माधो सिंह को बैठा दिया।अब यह शहर एक आधुनिक व्यवस्थापन से परिपूर्ण है और अपने प्राकृतिक परिवेश और मानव निर्मित चमत्कारों के लिए जाना जाता है।
हालाँकि, कोटा एक छोटा सा हवाई अड्डा होने का दावा करता हैं, जयपुर का मुख्य अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा (240 किमी) नियमित उड़ान सेवाओं के माध्यम से इसे शेष दुनिया के साथ जोड़ता है। कोटा शहर में एक मुख्य रेलवे स्टेशन है जो कि शहर के दूसरे प्रमुख रेलवे जंक्शनों के साथ शहर को जोड़ता है। एनएच 12 (जयपुर जबलपुर राजमार्ग) पर स्थित होने के कारण, भारत के बाकी हिस्सों के साथ कोटा को उत्कृष्ट सड़क संपर्क प्रदान किया है।
दशहरा राजस्थान के प्रमुख त्यौहारों में से एक है और कोटा में बहुत ही धूमधाम और भव्यता के साथ मनाया जाता है। इस त्यौहार में दिव्य राजा और राक्षस रावण के बीच हुए युद्ध को 9 दिनों तक प्रदर्शित किया जाता है। दसवें दिन को विजया दशमी या 'विजय का दिन' कहा जाता है। रामलीला रंगमंच के तहत, इस महाकाव्य लड़ाई और अन्य भक्ति कार्यक्रम को इस अवधि के दौरान आयोजित किए जाते हैं।
कोटा शहर के मुख्य आकर्षण हैं:
- कोटा किला
- चंबल गार्डन
- महाराव माधो सिंह संग्रहालय
- सरकारी संग्रहालय
- जग मंदिर - किशोर सागर
- देवताजी की हवेली
- कोटा बैराज
- कंसुआ मंदिर
- भीतरियाकुंड
- अधर शिला बुध सिंह बफना हवेली
- यातायात पार्क